भारत और पाकिस्तान में तनाव के दौरान राघव चड्ढा का बयान 10 may

भारत और पाकिस्तान में तनाव के दौरान राघव चड्ढा का बयान 10 may

रावलपिंडी में लहराएगा भारत का तिरंगा
जय हिंद साथियों, यह सच्चाई है कि आप दोस्त बदल सकते हैं मगर अपना पड़ोसी नहीं। और अगर पड़ोसी पाकिस्तान जैसा हो तो उसे ठीक करने के लिए कठोर दंड देना हमारा पहला कर्तव्य है। आज भारत सिर्फ पाकिस्तान नहीं बल्कि क्रूरता, बर्बरता और आतंकी मानसिकता के खिलाफ एक जंग लड़ रहा है।
हमारी सेना जिस अद्भुत वीरता और शौर्य से लड़ रही है, उससे साफ है कि इस बार आतंकवाद का खात्मा होकर रहेगा। बस हम सबको अपने-अपने ईश्वर, अपने-अपने भगवान से सैनिकों की सलामती की दुआ करनी है, प्रार्थना करनी है और उनके परिवारों के साथ खड़े होकर उनका साहस और मनोबल बढ़ाना है।
जिन परिवारों से निकलकर कर्नल सोफिया कुरैशी और विंग कमांडर वयोमिका सिंह जैसी बेटियां तिरंगे की शान संभाल रही हैं। जिन परिवारों के बेटे सरहद पर दुश्मन का मुकाबला कर रहे हैं। उन परिवारों के साथ चट्टान की तरह खड़ा होना। दुनिया जानती है कि हमारा यह उसूल है। ना हम किसी को पहले छेड़ते हैं और ना ही बाद में किसी को छोड़ते हैं। 22 अप्रैल को पहलगाम में पाकिस्तानी आतंकियों ने जिस कायरता और क्रूरता से हमारे निहत्ते लोगों की हत्या की थी, वो मानवता के इतिहास पर एक कलंक की तरह है।

सो हमने भी अपने बहनों के सिंदूर का बदला ऑपरेशन सिंदूर की पहली इंस्टॉलमेंट से ले लिया। मगर पाकिस्तान अपनी गलती मानने की बजाय भारत को ही आंख दिखाने लगा। उसने अपनी गलती स्वीकारने की जगह सीमा पर हमारे बेकसूर नागरिकों और बच्चों को निशाना बनाने का आपराधिक प्रयास किया।
वो भूल गया कि भारत जहां बुद्ध की धरती है, वहां अर्जुन और भीम जैसे महान योद्धाओं की भी। भारत अगर गांधी का वंशज है तो भगत सिंह और चंद्रशेखर आजाद जैसे वीरों का भी, और इसलिए अब भारत की तीनों सेनाएं पूरी ताकत से बता रही हैं कि भारत पाकिस्तान का बाप है और बाप बाप होता है।
हमारी मिसाइलें, हमारे विमान पाकिस्तान की छाती पर गरज रहे हैं। हमारा एयर डिफेंस सिस्टम पाकिस्तान की मिसाइलों और ड्रोन को मच्छर की तरह मसल कर मार रहा है। जिन आतंकवादियों ने रहम की भीख मांग रही माताओं के सामने उनके कलेजे के टुकड़े को छीना था। जिन आतंकवादियों ने पुलवामा से लेकर उरी तक हमारे लोगों पर नापाक नजर डाली थी। जिन आतंकवादियों ने 2008 में मुंबई में हमारे सैकड़ों निहत्तों और बेकसूर लोगों की बलि ली थी।
जिन आतंकवादियों ने 2001 में हमारे लोकतंत्र के मंदिर इंडियन पार्लियामेंट पर घिनौना हमला किया था। जिन आतंकवादियों ने 1993 में हमारी आर्थिक राजधानी मुंबई को सीरियल ब्लास्ट से दहला दिया था। हमारी सेना उन आतंकवादियों को और उनकी नफरत की मानसिकता को पूरी ताकत से दफनाने में जुटी है। बस हम सबको आपस में एक रहना है। मुसीबत में देश की कमजोरी नहीं बल्कि ताकत बनना है। हम किसी भी धर्म, किसी भी जाति या किसी भी राजनीतिक दल से जुड़े हैं। किसी भी नेता को फॉलो करते हैं। इससे ज्यादा महत्वपूर्ण बात यह है कि हम सब हिंदुस्तानी हैं। वी आर ऑल इंडियंस।
अगर कोई हमारे देश और मातृभूमि की तरफ आंख उठाएगा, उसका जवाब हम सब मिलकर देंगे। हमारी आर्मी, नेवी और एयरफोर्स पाकिस्तान को फिर से याद दिला रहे हैं कि ऐसे ही 1971 में उसको धूल चटाई थी। ऐसे ही पाकिस्तान के 90 हजार से अधिक सैनिकों को घुटनों पर लाकर भारत ने नया बांग्लादेश बनाया था। ऐसे ही 1984 में सियाचिन में जब भारत के सैनिकों ने पाकिस्तान के कायरों को दौड़ाया था। ऐसे ही 1999 में कारगिल में हमारी सेना ने पाक के सारे नापाक इरादों को मिट्टी में मिलाया था। मगर पाकिस्तान की मेमोरी लगता है कमजोर है। इसलिए समय-समय पर याद दिलाना पड़ता है।
जो देश 24 घंटे 365 दिन पूरी दुनिया के सामने भीख का कटोरा लेकर खड़ा रहता है। जो देश अपने बच्चों के हिस्से का दूध आतंकियों को पिलाता है। उसका फन कुचलने का इस बार इरादा हर हिंदुस्तानी ने ठान लिया है। अबकी बार पाकिस्तान को सुधार कर रहेंगे। भारत पाकिस्तान को चुनौती और चेतावनी दे रहा है कि सुधर जाओ वरना अब काशी से लेकर इस्लामाबाद तक बहेगी गंगा। रावलपिंडी में लहराएगा भारत का तिरंगा।